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कारोबारी मीडिया दुश्मन पैदा करने की फैक्ट्री है!

यह नफरती माहौल युद्ध की संभावनाओं से लेकर युद्ध तक में बदल गया। कारोबारी मीडिया ऐसी दुश्मनी पैदा करने में कैसे कामयाब हो जाता है। इस पर हमसे बात कर रहे हैं मीडिया विश्लेषक विनीत कुमार।

मरना और मारना तो युद्ध नहीं होता बल्कि अंत की कहानी होती है। युद्ध की स्थिति में हम हमेशा रहते हैं। और इसे भाषा और अभिव्यक्तियों की लिहाज से लड़ा जाता है। पुलवामा के दर्दनाक हादसे के बाद भारत ने पाकिस्तान पर कार्रवाई की। और पाकिस्तान ने भी भारत पर कार्रवाई की। दोनों ने इसे असैन्य कार्रवाई का नाम दिया। मामला तनाव से भर गया। लेकिन इसके बाद भारत और पाकिस्तान की मीडिया ने नफरत का माहौल पैदा करना शुरू किया। और यह नफरती माहौल युद्ध की संभावनाओं से लेकर युद्ध तक में बदल गया। कारोबारी मीडिया ऐसी दुश्मनी पैदा करने में कैसे कामयाब हो जाता है। इस पर हमसे बात कर रहे हैं मीडिया विश्लेषक विनीत कुमार।

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