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पत्रकार मोहम्मद ज़ुबैर को एक दिन की हिरासत, चारधाम यात्रा में इस वर्ष अब तक 203 श्रद्धालुओं की मौत और अन्य खबरें

Alt News के सह-संस्थापक मोहम्मद ज़ुबैर की सोमवार देर रात को मैजिस्ट्रैट के सामने पेशी के बाद उन्हें एक दिन की हिरासत में भेज दिया गया है। Alt News के सह-संस्थापक प्रतीक सिन्हा ने जानकारी दी कि पुलिस ने उनकी सात दिन की हिरासत की मांग की थी। 

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पत्रकार मोहम्मद ज़ुबैर को एक दिन की पुलिस हिरासत

Alt News के सह-संस्थापक मोहम्मद ज़ुबैर की सोमवार देर रात को मैजिस्ट्रैट के सामने पेशी के बाद उन्हें एक दिन की हिरासत में भेज दिया गया है। Alt News के सह-संस्थापक प्रतीक सिन्हा ने जानकारी दी कि पुलिस ने उनकी सात दिन की हिरासत की मांग की थी।

उन्हें सोमवार को दिल्ली पुलिस की इंटेलिजेंस फ्यूजन एंड स्ट्रैटेजिक ऑपरेशंस (IFSO) यूनिट ने गिरफ्तार कर लिया था। पुलिस के मुताबिक उनके ऊपर धार्मिक भावनाओं को आहत करने का आरोप है।

ज़ुबैर को दिल्ली पुलिस ने 2018 में एक मशहूर बॉलीवुड फिल्म के सीन की फोटो ट्वीट करने के लिए गिरफ्तार किया है। पुलिस का कहना है कि उस दृश्य को ट्वीट कर उन्होंने लोगों की कथित तौर पर "धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुँचाई है।

ज़ुबैर ने 2108 में हृषिकेश मुखर्जी की 1983 की मशहूर कॉमेडी फिल्म 'किसी से ना कहना’ का एक दृश्य जिसमें एक होटल का साइनबोर्ड 'हनीमून होटल' से बदलकर 'हनुमान होटल' कर दिया गया था, को अपने अकाउंट से ट्वीट किया था। हालाँकि, छवि 1983 की कॉमेडी फिल्म 'किसी से ना कहना' से ली गई है, जिसका निर्देशन हृषिकेश मुखर्जी ने किया था।

चारधाम यात्रा: कठिन मौसम, स्वास्थ्य कारणों से इस बार अब तक 203 श्रद्धालुओं की मौत

 

देहरादून/भाषा: उच्च गढ़वाल हिमालयी क्षेत्र में स्थित चार धाम की यात्रा के लिए स्वास्थ्य संबंधी परामर्श जारी किए जाने के बावजूद कठिन मौसम और स्वास्थ्य संबंधी कारणों की वजह से अब तक 203 श्रद्धालुओं की मौत हो चुकी है। आधिकारिक आंकड़ों से यह जानकारी मिली।

चारधाम यात्रा तीन मई को अक्षय तृतीया के पर्व से शुरू हुई थी और अधिकतर श्रद्धालुओं की मृत्यु दिल का दौरा पड़ने से हुई है। इसके अलावा, विषम पहाड़ी मौसमी दशाओं के चलते कई लोग विशेष रूप से बुजुर्ग तीर्थयात्रियों का स्वास्थ्य खराब भी हुआ जिन्हें हवाई एंबुलेंस समेत तमाम प्रकार की चिकित्सकीय सहायता उपलब्ध कराई गई।

आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार, 26 जून तक चारधाम यात्रा पर आने वाले 203 श्रद्धालुओं की स्वास्थ्य संबंधी कारणों से जान चली गयी। इनमें से सबसे ज्यादा 97 लोगों की मौत केदारनाथ में हुई जबकि बदरीनाथ में 51, यमुनोत्री में 42 और गंगोत्री में 13 तीर्थयात्रियों ने दम तोड़ा।

इस बारे में संपर्क किए जाने पर प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री धन सिंह रावत ने कहा कि स्वास्थ्य विभाग लगातार इस पर नजर बनाए हुए है और बाहर से आने वाले श्रद्धालुओं की स्वास्थ्य जांच की जा रही है। उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य संबंधी दिशा निर्देशों का सोशल मीडिया सहित सभी संचार माध्यमों के जरिए प्रचार-प्रसार किया जा रहा है ताकि श्रद्धालु उसका पालन करें और उनकी यात्रा निर्विघ्न रहे।

चारधाम यात्रा में आने वाले श्रद्धालुओं की मौत पहले भी होती रही है, लेकिन इस बार ये आंकड़े अपेक्षाकृत अधिक हैं। इससे पहले, 2019 में 90 से ज्यादा, 2018 में 102, 2017 में 112 चारधाम तीर्थयात्रियों की मृत्यु हुई थी। ये आंकड़े अप्रैल-मई में यात्रा शुरू होने से लेकर अक्टूबर-नवंबर में उसके बंद होने तक यानी छह माह की अवधि के हैं।

इस बार ज्यादा तीर्थयात्रियों की मौत की वजह अधिक संख्या में श्रद्धालुओं का आना माना जा रहा है। पिछले दो साल से कोविड-19 के कारण बाधित रही चारधाम यात्रा में इस बार देश-विदेश के श्रद्धालुओं की भारी भीड़ उमड़ रही है और केवल पौने दो माह की अवधि में ही अब तक साढ़े 25 लाख श्रद्धालु चारधामों के दर्शन कर चुके हैं।

उत्तराखंड सरकार ने चारधाम यात्रा परामर्श जारी किया है, जिसमें सभी धामों-बदरीनाथ, केदारनाथ, गंगोत्री और यमुनोत्री के दस हजार से ज्यादा उंचाई पर स्थित होने के कारण अत्यधिक ठंड, कम आर्द्रता, कम हवा का दबाव और ऑक्सीजन की कमी के मद्देनजर तीर्थयात्रियों से अपनी स्वास्थ्य जांच के बाद ही यात्रा आरंभ करने को कहा है।

इसके अलावा, किसी भी प्रकार की परेशानी होने पर उन्हें तत्काल निकटतम स्वास्थ्य केन्द्र पहुंचने तथा 104 हेल्पलाइन नंबर पर संपर्क करने की सलाह दी गई है। अति वृद्ध, बीमार एवं पूर्व में कोविड-19 से पीड़ित रहे व्यक्तियों को यात्रा पर नहीं जाने या कुछ समय के लिए उसे स्थगित करने की सलाह दी गयी है। इसके अलावा, तीर्थस्थल पर पहुंचने से पूर्व तीर्थयात्रियों को मार्ग में एक दिन का विश्राम करने का सुझाव दिया गया है।

तीर्थयात्रियों को गर्म एवं ऊनी वस्त्र साथ में रखने, यात्रा के दौरान पानी पीते रहने, भूखे पेट नहीं रहने, लंबी पैदल यात्रा के दौरान बीच-बीच में विश्राम करने, ऊंचाई वाले क्षेत्रों में व्यायाम नहीं करने को कहा गया है।

राज्य सरकार ने स्वास्थ्य संबंधी परामर्श इस सबंध में गठित एक विशेषज्ञ समिति की रिपोर्ट के आधार पर जारी किए हैं जिसमें यह पाया गया कि यात्रा में दम तोड़ने वाले ज्यादातर लोगों की उम्र 50 वर्ष से ज्यादा थी और उनमें से कई पूर्व में कोरोना वायरस से संक्रमित हुए थे।

अधिकारियों ने बताया कि चारधाम यात्रा मार्गों पर लगातार श्रद्धालुओं के स्वास्थ्य की जांच की जा रही है और अब तक 3,76,547 लोगों की जांच की जा चुकी है। इनमें से 96 श्रद्धालुओं को यात्रा पर आगे नहीं जाने की सलाह देते हुए वापस भी भेजा गया है।

डिजिपब, अन्य मीडिया संस्थाओं और विपक्ष ने पत्रकार ज़ुबैर की गिरफ़्तारी पर जताया कड़ा वरोध, तुरंत रिहाई की मांग

डिजिटल समाचार मीडिया संगठनों के एक समूह डिजीपब इंडिया ने सोमवार को AltNews के सह-संस्थापक मोहम्मद जुबैर की गिरफ्तारी की कड़ी निंदा निंदा की। AltNews भी डिजिपब का सदस्य है।

डिजीपब ने अपनी प्रेस विज्ञप्ति में कहा कि AltNews के सह-संस्थापक के खिलाफ उत्तर प्रदेश पुलिस ने हाल ही में एक ट्वीट में तीन हिंदुत्व कट्टरपंथियों को "नफरत फैलाने वाला" कहने के लिए मामला दर्ज किया था।

बयान में कहा गया है कि "लोकतंत्र में, जहां प्रत्येक व्यक्ति को बोलने और अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता का अधिकार है, वहाँ ऐसे कड़े कानून का पत्रकारों के खिलाफ अनुचित इस्तेमाल निंदनीय है। डिजिपब ने मामले को तुरंत रद्द करने का आह्वान किया।”

संयुक्त राज्य अमेरिका स्थित गैर-लाभकारी संगठन कमेटी टू प्रोटेक्ट जर्नलिस्ट्स ने भी जुबैर की तत्काल और बिना शर्त रिहाई का आह्वान किया।

सीपीआईएम सचिव सीताराम येचुरी ने भी जुबैर की तत्काल रिहाई की मांग की है। उन्होंने कहा, "मोदी सरकार गलत सूचनाओं की नफरती मशीन को उजागर करने वाली किसी भी चीज़ से असुरक्षित और डरी हुई महसूस करती  है।”

कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने भी ट्विटर पर इसके लिए सरकार को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि  "भाजपा की नफरत, कट्टरता और झूठ" को उजागर करने वाले सभी लोग भगवा पार्टी के लिए खतरा हैं।”

शशि थरूर ने भी ज़ुबैर की रिहाई की मांग करते हुए ट्वीट किया, "भारत की कुछ तथ्य-जांच करने वाली संस्थाएं, विशेष रूप से ऑल्ट न्यूज़, देश की वर्तमान राजनीतिक माहौल में, जो गलत सूचनाओं से भरा हुआ है, एक महत्वपूर्ण सेवा दे रही हैं।”

एडिटर्स गिल्ड ने जुबैर की गिरफ़्तारी की निंदा की

नयी दिल्ली/भाषा: एडिटर्स गिल्ड ऑफ इंडिया ने धार्मिक भावनाओं को आहत करने के आरोप में 'ऑल्ट न्यूज' के सह-संस्थापक मोहम्मद जुबैर की गिरफ्तारी को मंगलवार को ''बेहद चिंताजनक'' करार दिया और उनकी तत्काल रिहाई की मांग की।

गिल्ड ने यहां एक बयान में कहा, ''यह स्पष्ट है कि आल्ट न्यूज के सतर्क रुख का वे लोग विरोध कर रहे हैं जो समाज का ध्रुवीकरण करने व राष्ट्रवादी भावनाओं को भड़काने के लिए दुष्प्रचार का उपयोग एक हथियार के तौर पर करते हैं।''

दिल्ली पुलिस के विशेष प्रकोष्ठ ने सोमवार को फैक्ट चैक वेबसाइट के सह-संस्थापक जुबैर को गिरफ्तार कर लिया था। उन पर धार्मिक तथा सुनियोजित कृत्यों के माध्यम से धार्मिक भावनाएं भड़का कर विभिन्न समूहों के बीच वैमनस्य को बढ़ावा देने का आरोप है।

गिल्ड ने कहा, ''जुबैर को भारतीय दंड संहिता की धारा 153 और 295 के तहत गिरफ्तार किया गया है। यह बेहद चिंताजनक है क्योंकि जुबैर और उनकी वेबसाइट आल्ट न्यूज ने पिछले कुछ वर्षों में फर्जी समाचारों की पहचान करने और दुष्प्रचार अभियानों का मुकाबला करने के लिए बहुत ही उद्देश्यपूर्ण व तथ्यात्मक तरीके से अनुकरणीय कार्य किया है।''

गिल्ड ने दिल्ली पुलिस से जुबैर को तत्काल रिहा करने की मांग की।

कोरोना अपडेट: देश में 11,793 नए मामले, 27 और लोगों की मौत

नयी दिल्ली: भारत में एक दिन में कोविड-19 के 11,793 नए मामले सामने आने के बाद देश में कोरोना वायरस से संक्रमित लोगों की संख्या बढ़कर 4,34,18,839 हो गई। वहीं, उपचाराधीन मरीजों की संख्या बढ़कर 96,700 पर पहुंच गई।

केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय की ओर से मंगलवार को सुबह आठ बजे जारी ताज़ा आंकड़ों के अनुसार, भारत में संक्रमण से 27 और लोगों की मौत के बाद मृतक संख्या बढ़कर 5,25,047 हो गई। देश में कोविड-19 के उपचाराधीन मरीजों की संख्या बढ़कर 96,700 हो गई है, जो कुल मामलों का 0.22 प्रतिशत है। पिछले 24 घंटे में उपचाराधीन मरीजों की संख्या में 2,280 की बढ़ोतरी हुई है।

अपडेट आंकड़ों के मुताबिक, मरीजों के ठीक होने की राष्ट्रीय दर 98.57 प्रतिशत है। दैनिक संक्रमण दर 2.49 प्रतिशत, जबकि साप्ताहिक संक्रमण दर 3.36 प्रतिशत है। देश में अभी तक कुल 4,27,97,092 लोग संक्रमण मुक्त हो चुके हैं और कोविड-19 से मृत्यु दर 1.21 प्रतिशत है। वहीं, राष्ट्रव्यापी टीकाकरण अभियान के तहत अभी तक कोविड-19 रोधी टीकों की 197.31 करोड़ से अधिक खुराकें दी जा चुकी हैं।

गौरतलब है कि देश में सात अगस्त 2020 को संक्रमितों की संख्या 20 लाख, 23 अगस्त 2020 को 30 लाख और पांच सितंबर 2020 को 40 लाख से अधिक हो गई थी। संक्रमण के कुल मामले 16 सितंबर 2020 को 50 लाख, 28 सितंबर 2020 को 60 लाख, 11 अक्टूबर 2020 को 70 लाख, 29 अक्टूबर 2020 को 80 लाख और 20 नवंबर को 90 लाख के पार चले गए थे।

देश में 19 दिसंबर 2020 को ये मामले एक करोड़ से अधिक हो गए थे। पिछले साल चार मई को संक्रमितों की संख्या दो करोड़ और 23 जून 2021 को तीन करोड़ के पार पहुंच गई थी। इस साल 26 जनवरी को मामले चार करोड़ के पार हो गए थे।

मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार, देश में पिछले 24 घंटे में संक्रमण से मौत के 27 मामले सामने आए, जिनमें से केरल में 13, महाराष्ट्र में पांच, दिल्ली तथा पंजाब में तीन-तीन और मध्य प्रदेश, मिजोरम तथा उत्तराखंड में एक-एक मामला सामने आया।

स्वास्थ्य मंत्रालय ने बताया कि अब तक जिन लोगों की कोरोना वायरस के संक्रमण से मौत हुई है, उनमें से 70 प्रतिशत से अधिक मरीजों को अन्य गंभीर बीमारियां भी थीं। मंत्रालय ने अपनी वेबसाइट पर बताया कि उसके आंकड़ों का भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) के आंकड़ों के साथ मिलान किया जा रहा है।

झारखंड : कुएं की सफ़ाई के दौरान ज़हरीली गैस का रिसाव होने से 3 मज़दूरों की मौत, एक की हालत गंभीर

गिरिडीह: झारखंड के गिरिडीह जिले के देवरी थाना क्षेत्र स्थित बरबाबाद गांव में मंगलवार सुबह एक कुंए की सफाई करने उतरे तीन मजदूरों की कथित तौर पर जहरीली गैस की चपेट में आने से मौत हो गई, जबकि एक अन्य की हालत गंभीर है। एक पुलिस अधिकारी ने यह जानकारी दी।

मृतकों में दो जमुई व एक बरवाबाद गांव  के थे। मृतकों की पहचाना सागर विश्वकर्मा (24 वर्ष), अबोध विश्वकर्मा (27 वर्ष) व बरवाबाद गांव के महेश विश्वकर्मा (20 वर्ष)  के तौर पर हुई । जबकि चौथे सफाई कर्मी भिखारी विश्कर्मा की हालत गंभीर  बनी हुई है।    

सथनीय अख़बार प्रभात ख़बर के मुताबिक़ गिरिडीह के देवरी थाना क्षेत्र के बरवाबाद गांव निवासी गिरजा विश्वकर्मा के घर के कुएं में पानी गंदा हो गया था.  इसलिए कुएं की सफाई करवायी जा रही थी।  सफाई के दौरान पानी निकालने के लिए होंडा डीजल मशीन लगायी गयी थी।  मशीन स्टार्ट करते ही कुएं की सफाई करने में लगे मजदूर बेहोश हो गए।  
इसकी पुष्टि करते हुए देवरी थाने के प्रभारी सरोज सिंह चौधरी ने बताया कि मंगलवार सुबह बरबाबाद गांव में एक गहरे कुंए की सफाई की जा रही थी, तभी जहरीली गैस के रिसाव से वहां काम कर रहे सभी चार मजदूर बेहोश हो गए।

चौधरी के मुताबिक, आसपास के लोग मजदूरों को अस्पताल ले जा पाते, इससे पहले ही तीन ने घटनास्थल पर दम तोड़ दिया, जबकि एक अन्य को इलाज के लिए धनबाद ले जाया गया है।
उन्होंने बताया कि चौथा मजदूर अभी भी बेहोश है और उसकी हालत गंभीर बनी हुई है। चौधरी के अनुसार, हादसे में मारे गए तीनों मजदूरों के शव पोस्टमार्टम के लिए भेज दिए गए हैं और मामले की जांच जारी है।  

नफ़रत फ़ैलाने वालों को छू तक नहीं रही भाजपा, सच बोलने वालों की हो रही गिरफ़्तारी : ममता

आसनसोल (पश्चिम बंगाल) (भाषा) पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने मंगलवार को ‘ऑल्ट न्यूज’ के सह-संस्थापक जुबैर अहमद और कार्यकर्ता तीस्ता सीतलवाड़ की गिरफ्तारी को लेकर मंगलवार को भाजपा के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार पर निशाना साधा।

पश्चिम बर्धमान जिले के आसनसोल में पार्टी की बैठक को संबोधित करते हुए उन्होंने अग्निपथ सेना भर्ती योजना को लेकर भी केंद्र पर निशाना साधा और इसे 2024 के लोकसभा चुनावों से पहले ‘बड़ा घोटाला व जुमलों की राजनीति का एक और उदाहरण’ करार दिया।

बनर्जी ने कहा, ‘‘आपने मोहम्मद जुबैर और तीस्ता सीतलवाड़ को क्यों गिरफ्तार किया है? उन्होंने क्या गलत किया है? क्या सच बोलना या सच को उजागर करना अपराध है? जो लोग इस सरकार के खिलाफ बोल रहे हैं, उन्हें या तो एजेंसियों का इस्तेमाल करके परेशान किया जा रहा है या उन्हें गिरफ्तार कर लिया जाता है।’’

पैगंबर मोहम्मद के बारे में निलंबित भाजपा नेता नुपुर शर्मा की विवादित टिप्पणी का जिक्र करते हुए बनर्जी ने आरोप लगाया कि देश में नफरत और हिंसा फैलाने वालों को गिरफ्तार नहीं किया जा रहा है।

बनर्जी ने कहा कि देश में नफरत और हिंसा फैलाने वालों को गिरफ्तार नहीं किया जा रहा है, कोई कार्रवाई नहीं की जा रही है। उन्होंने कहा कि समुदायों के बीच दुश्मनी पैदा करने वालों को उन्होंने (भाजपा ने) छुआ तक नहीं, लेकिन ऐसे लोगों के खिलाफ लड़ने वालों को परेशान किया जा रहा है।
 
अग्निपथ योजना के बारे में बनर्जी ने कहा कि केंद्र को इसके तहत भर्ती किए गए सैनिकों की सेवानिवृत्ति की आयु 60 वर्ष तक बढ़ानी चाहिए। उन्होंने दावा किया कि वे चार साल का अनुबंध खत्म होने पर अनिश्चित भविष्य का सामना करेंगे।

उन्होंने कहा कि हाल ही में उन्हें एक पत्र मिला, जिसमें उनसे अनुरोध किया गया कि उन अग्निवीरों को, चार साल बाद राज्य सरकार की नौकरियों में अवसर मिलना चाहिए। ममता ने कहा कि यह केंद्र सरकारी की पैदा की हुई समस्या है, इसलिए उसे ही इसकी जिम्मेदारी लेनी होगी, हमारी सरकार इसकी जिम्मेदारी नहीं लेंगी।

दिल्ली पुलिस ने मोहम्मद ज़ुबैर को अदालत में पेश किया

नयी दिल्ली: दिल्ली पुलिस ने ऑल्ट न्यूज के सह-संस्थापक मोहम्मद जुबैर को एक हिंदू देवता के खिलाफ 2018 में ‘आपत्तिजनक ट्वीट’ करने से जुड़े मामले में मंगलवार को यहां एक अदालत में पेश किया।

पुलिस ने जुबैर की हिरासत में पूछताछ की एक दिन की अवधि समाप्त होने के बाद उसे मुख्य मेट्रोपॉलिटन मजिस्ट्रेट स्निग्धा सरवरिया के समक्ष पेश किया।

अदालत जुबैर की हिरासत पांच दिन और बढ़ाने की पुलिस की अर्जी पर सुनवाई शुरू कर सकती है।

भारत में मानवाधिकार रक्षकों का उत्पीड़न आम बात हो गयी है: एमनेस्टी ने जुबैर की गिरफ़्तारी पर कहा

एमनेस्टी इंडिया ने ऑल्ट न्यूज के सह-संस्थापक मोहम्मद जुबैर की तत्काल और बिना शर्त रिहाई की मांग करते हुए मंगलवार को कहा कि अथक रूप से सच और न्याय की पैरोकारी कर रहे मानवाधिकार रक्षकों का उत्पीड़न और मनमाने तरीके से गिरफ्तारी भारत में चिंताजनक रूप से आम बात हो गयी है।

जुबैर को दिल्ली पुलिस ने ट्विटर पर कथित रूप से धार्मिक भावनाएं आहत करने और दुश्मनी को बढ़ावा देने के मामले में सोमवार रात को गिरफ्तार किया था।

एमनेस्टी इंटरनेशनल इंडिया के लिए बोर्ड के अध्यक्ष आकार पटेल ने कहा कि भारतीय अधिकारी जुबैर पर इसलिए निशाना साध रहे हैं क्योंकि वह फर्जी खबरों और भ्रामक सूचनाओं के खिलाफ काम कर रहे हैं।

पटेल ने एक बयान में कहा, ‘‘मोहम्मद जुबैर की गिरफ्तारी दिखाती है कि भारत में मानवाधिकार रक्षकों के सामने मौजूद खतरा संकट की स्थिति में पहुंच गया है।’’

उन्होंने कहा कि जुबैर को ‘‘प्राथमिकी की प्रति नहीं दिया जाना और गिरफ्तारी के बाद शुरुआत के कुछ घंटों तक किसी से बात नहीं करने देना, यह तथ्य दिखाता है कि भारतीय प्राधिकार कितने निर्लज्ज हो गये हैं।’’

पटेल ने कहा कि जुबैर की गिरफ्तारी अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता के अधिकार का स्पष्ट उल्लंघन है और दिल्ली पुलिस को उन्हें तत्काल और बिना शर्त रिहा कर देना चाहिए।

संयुक्त राज्य अमेरिका स्थित गैर-लाभकारी संगठन कमेटी टू प्रोटेक्ट जर्नलिस्ट्स ने भी जुबैर की तत्काल और बिना शर्त रिहाई का आह्वान किया।

अरब सागर में पवन हंस हेलीकॉप्टर हादसे में ओएनजीसी के तीन कर्मचारियों सहित चार की मृत्यु: कंपनी अधिकारी

ओएनजीसी (ONGC) कंपनी के एक पवन हंस हेलीकॉप्टर ने मंगलवार को मुंबई के पास अरब सागर में इमरजेंसी लैंडिंग करने के बाद हादसे में ओएनजीसी के तीन कर्मचारियों सहित चार की मृत्यु हो गई। एक कंपनी अधिकारी ने जानकारी दी।

प्राप्त जानकारियों के मुताबिक जहाज में 7 यात्री और 2 पायलट सवार थे।

बताया जा रहा है कि इस हेलीकॉप्टर में 6 ओएनजीसी कर्मियों के साथ कंपनी में काम करने वाला एक ठेकेदार भी सवार था।

अब तक हादसे के कारणों की पुष्टि नहीं हो पाई है जिसके कारण हेलीकॉप्टर को ईमर्जन्सी लैंडिग करनी पड़ी।

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