सिर्फ़ ये तीन कृषि कानून ही नहीं, जनता के ख़िलाफ़ सरकारी रवैये को बदलेंगे -दर्शन पाल
सिंघु बॉर्डर पर वरिष्ठ पत्रकार भाषा सिंह ने बातचीत की क्रांतिकारी किसान यूनियन के नेता डॉ. दर्शन पाल से। वह कहते हैं कि हमारा आंदोलन देश की राजनीतिक विमर्श में दख़ल देगा और सिर्फ़ तीन कृषि कानून ही नहीं, जनता के ख़िलाफ़ सरकारी रवैये को बदलेंगे।
सिंघु बॉर्डर पर वरिष्ठ पत्रकार भाषा सिंह ने बातचीत की क्रांतिकारी किसान यूनियन के नेता डॉ. दर्शन पाल से, जो तीन कृषि कानूनों के खिलाफ चल रहे जुझारू किसान आंदोलन के प्रमुख चेहरा है। सत्तर वर्षीय दर्शन पाल, पेशे से डॉक्टर रहे हैं और उन्हेंने बेहद धारदार किसान यूनियन का गठन किया, जिसकी विचारों की प्रतिबद्धता निर्बाद रूप से स्थापित है। वह कहते हैं कि हमारा आंदोलन देश की राजनीतिक विमर्श में दख़ल देगा और सिर्फ़ तीन कृषि कानून ही नहीं, जनता के ख़िलाफ़ सरकारी रवैये को बदलेंगे।
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