मुबारक हो :आज के भारत पर एक व्यंग
हाल के समय में किसानों की आत्महत्या ,मज़दूरों के बिगड़ते हालत, बेरोज़गारी ,प्रदूषण,महंगाई और महिलाओं पर हिंसा जैसे मुद्दे अखबारों की सुर्खियाँ बटोरते रहे हैं I इन्ही मुद्दों पर आधारित है न्यूज़क्लिक के ऋतांश का ये व्यंगात्मक गीत “मुबारक हो”I
हाल के समय में किसानों की आत्महत्या ,मज़दूरों के बिगड़ते हालत, बेरोज़गारी ,प्रदूषण,महंगाई और महिलाओं पर हिंसा जैसे मुद्दे अखबारों की सुर्खियाँ बटोरते रहे हैं I इन्ही मुद्दों पर आधारित है न्यूज़क्लिक के ऋतांश का ये व्यंगात्मक गीत “मुबारक हो”I
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