इक्वाडोर : बजट कट के ख़िलाफ़ विश्वविद्यालय के शिक्षक-छात्रों का प्रदर्शन
5 मई को, राजधानी क्विटो में स्थित इक्वाडोर के केंद्रीय विश्वविद्यालय के सैकड़ों छात्रों, शिक्षकों और श्रमिकों ने सार्वजनिक उच्च शिक्षा क्षेत्र में भारी बजट कटौती को ख़ारिज करते हुए विश्वविद्यालय परिसर के बाहर प्रदर्शन किया।
3 मई को राष्ट्रपति लेनिन मोरेनो की नवउदारवादी सरकार ने कोविड-19 महामारी की वजह से देश में पैदा हुए आर्थिक संकट से लड़ने के लिए सरकारी उच्च शिक्षा में 100 मिलियन डॉलर के बजट कट का ऐलान किया था।
नोवेल कोरोना वायरस के कारण लॉकडाउन के बावजूद, 300 से अधिक लोग, मास्क पहने हुए और सामाजिक दूरी बनाए रखते हुए, विश्वविद्यालय में यह मांग करने के लिए इकट्ठा हुए और माँग की कि राष्ट्रीय सरकार ने घोषित उपायों को वापस ले। उन्होंने इक्वाडोर हाउस ऑफ़ कल्चर में कुछ ब्लॉकों तक मार्च किया, लेकिन पुलिस ने उन्हें रोक दिया।
प्रदर्शनकारियों ने "लॉकडाउन से हम शांत नहीं होंगे" , "बजट कट वापस लो" , आदि जैसे नारे पोस्टर पर लिखे हुए थे। प्रदर्शनकारियों ने सरकार विरोधी नारे भी लगाए।
4 मई से ही विभिन्न शैक्षणिक संस्थानों ने इस निर्णय पर अपनी असहमति जताई है और कहा है कि बजट कट की वजह से रिसर्च और ज्ञान वृद्धि में रुकावट आयेगी।
Federation of University Students of Ecuador (FEUE) ने इन उपायों को असंवैधानिक क़रार दिया है और कहा है कि कोरोना जैसी महामारी से लड़ने के किये शिक्षा और वैज्ञानिक संस्थान बेहद ज़रूरी हैं।
इक्वाडोर के केंद्रीय विश्वविद्यालय ने खुद एक बयान में कहा कि यह कार्रवाई एक हमले का गठन करती है और इसे बाहर ले जाने से "शिक्षकों और प्रशासनिक कर्मचारियों की बर्खास्तगी को बढ़ावा मिलेगा, जो शैक्षणिक विकास, अनुसंधान और वैज्ञानिक ज्ञान के उत्पादन को प्रभावित करेगा।"
नेशनल पॉलिटेक्निक स्कूल (EPN) ने भी अपने बजट में गिरावट को लेकर अपनी चिंता व्यक्त की थी। ईपीएन ने निर्णय को "एकतरफा और बिना परामर्श" के रूप में वर्णित किया, और कहा कि यह उपाय शिक्षकों और कर्मचारियों के वेतन को प्रभावित करेगा।
देश के सबसे बड़े स्वदेशी संगठन (CONAIE) के स्वदेशी राष्ट्रीयताओं के परिसंघ ने भी माप को खारिज कर दिया और स्वास्थ्य आपातकाल के बीच में इसके कार्यान्वयन की निंदा की।
इक्वाडोर में कोरोना वायरस के अब तक 31,881 मामले सामने आ चुके हैं, जिसमें से 3433 लोग ठीक हुए हैं और 1569 लोगों की मौत हो चुकी है।
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