कार्टून क्लिक: कुछ जोड़ने के लिए कुछ छोड़ना ज़रूरी है...लेकिन
देश-समाज की मांग और राजनीति की मांग थोड़ी अलग होती है। शायद यही वजह है कि मोदी सरकार के ख़िलाफ़ विपक्षी एकता अभी तक पुख़्ता नहीं हो पाई है। सबकी अपनी राजनीति है और अपने अस्तित्व का सवाल भी। कांग्रेस की अपनी रणनीति है और अन्य विपक्षी दलों की अपनी मजबूरी। क्षेत्रीय दल अपने अपने इलाके में मज़बूत रहेंगे तभी राष्ट्रीय राजनीति में उनकी पूछ और ज़रूरत होगी और राष्ट्रीय दल अलग-अलग राज्यों में मज़बूत होगा तभी उसकी राष्ट्रीय छवि बरकरार रह पाएगी। राजनीति का यही विरोधाभास है और इसी को समझते हुए रणनीति बनाना ही आज की ज़रूरत और समझदारी है। क्योंकि विपक्ष के अनुसार ही आज के हालात में सबसे बड़ी चुनौती देश जोड़ने की है, अगर यह सही है और प्राथमिकता में देश है तो सभी दलों को थोड़ी साझेदारी और थोड़ी कुर्बानी तो देनी होगी। क्योंकि कहा भी गया है कि "कभी किसी को मुकम्मल जहां नहीं मिलता...”
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