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चौधरी ने विपक्षी सांसदों का निलंबन रद्द करने के लिए स्पीकर को पत्र लिखा

लोकसभा के कांग्रेस नेता लिखते हैं कि विपक्ष का कर्तव्य है कि वह सरकार से स्पष्टीकरण मांगें और सुधारात्मक उपायों की अपेक्षा करें।
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निलंबित सांसदों ने सोमवार, 18 दिसंबर, 2023 को जारी शीतकालीन सत्र के दौरान संसद के प्रवेश द्वार पर अपने निलंबन के ख़ि‍लाफ़ विरोध प्रदर्शन किया। फोटो: PTI/कमल सिंह

लोकसभा के कांग्रेस नेता अधीर रंजन चौधरी ने स्पीकर ओम बिरला से 13 दिसंबर के संसद सुरक्षा उल्लंघन का विरोध करने वाले 13 विपक्षी सांसदों के निलंबन को रद्द करने का आग्रह किया है क्योंकि वे"सरकार से स्पष्टीकरण मांगने और सुधारात्मक उपायों की अपेक्षा करने के लिए कर्तव्यबद्ध थे।"

पिछले हफ्ते, शून्यकाल के दौरान पीले धुएं के डिब्‍बों के साथ दो व्यक्ति आगंतुक गैलरी से लोकसभा कक्ष के अंदर कूद गए और एक तीसरे पुरुष और एक महिला ने कुछ बम लेकर संसद के बाहर नारे लगाए। चार घुसपैठियों सहित पांच लोगों को गिरफ्तार किया गया जिन पर UAPA और विभिन्न IPC धाराओं के तहत आरोप लगाए गए।

विपक्ष के विरोध के बाद, - टीएमसी के डेरेक ओ'ब्रायन (उच्च सदन) और कांग्रेस के नौ, सीपीएम के दो, डीएमके, सीपीआई और टीएमसी (निचले सदन) के एक-एक सांसद) एक राज्यसभा और 13 लोकसभा सांसदों को "अनियंत्रित आचरण" के लिए निलंबित कर दिया गया।

शनिवार को, बिड़ला ने सभी सांसदों को पत्र लिखकर इस बात से इनकार किया कि निलंबन सुरक्षा उल्लंघन से जुड़ा था और "विशुद्ध रूप से सदन की पवित्रता को बनाए रखने के लिए" था।

रविवार को बिड़ला को संबोधित एक पत्र में चौधरी ने लिखा: “चूंकि मामले की गंभीरता इस तथ्य में निहित है जो हमारी अपनी सुरक्षा से संबंधित है। विपक्ष के सदस्य सरकार से स्पष्टीकरण मांगने और सुधारात्मक उपायों की अपेक्षा करने के लिए बाध्य हैं। इसके लिए तत्काल कदम उठाए जाए।'’

जबकि बेहरामपुर (पश्चिम बंगाल) के सांसद ने लिखा है कि "मामले की संवेदनशीलता और इसमें शामिल मुद्दों" के कारण "गर्म स्थिति" उत्पन्न हो सकती है और बिड़ला "जब मामले को सक्षम करने के रास्ते से बाहर जाते हैं तो उपचारात्मक कार्रवाई करने के लिए बाध्य थे" कि सदन सुचारु रूप से चले”। उन्होंने यह भी तर्क दिया कि निलंबित सदस्य “बहुत परेशान करने वाले मुद्दों पर सरकार से स्पष्टीकरण के लिए दबाव डाल रहे थे।”

चौधरी ने आगे लिखा "उनकी चिंताओं और दृष्टिकोणों को सुनना उचित प्रतीत होता है।"

"हाल के दिनों में 13 सदस्यों के निलंबन के कारणों को ध्यान में रखते हुए मैं आग्रह करूंगा कि इस मामले पर समग्र रूप से फिर से विचार किया जाए और निलंबन को रद्द करने और सदन में व्यवस्था बहाल करने के लिए उचित कार्रवाई की जाए।"

कांग्रेस नेता ने 13 दिसंबर 2001 को संसद पर हमले के बाद लोकसभा में तत्कालीन केंद्रीय गृह मंत्री लाल कृष्ण आडवाणी के विस्तृत बयान का भी जिक्र किया।

उन्होंने लिखा "सदस्य, अपनी पार्टी से संबद्धता के बावजूद, हमारे राष्ट्र और हमारी लोकतांत्रिक परंपराओं और विरासत के प्रतीक संस्थानों के हित में दृढ़ता से खड़े थे।"

गुरुवार और शुक्रवार को, विपक्षी सांसदों ने दोनों सदनों में कार्यवाही रोक दी और शाह से सुरक्षा उल्लंघन पर चर्चा के लिए एक बयान तथा सदन में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की उपस्थिति और भाजपा सांसद प्रताप सिम्हा के खिलाफ कार्रवाई की मांग की जिन्होंने दोनों घुसपैठिओं के लिए पास की सुविधा प्रदान की।

चौधरी ने लिखा, "वर्तमान उदाहरण में भी, गृह मंत्री (अमित शाह) के लिए इस घटना पर सदन में बयान देना उचित है।"

इस रिपोर्ट को अंग्रेजी में पढ़ने के लिए नीचे दिए गए लिक पर क्लिक करें:

Chowdhury writes to Speaker to Revoke Suspension of Opposition MPs

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