Skip to main content
xआप एक स्वतंत्र और सवाल पूछने वाले मीडिया के हक़दार हैं। हमें आप जैसे पाठक चाहिए। स्वतंत्र और बेबाक मीडिया का समर्थन करें।

हरियाणा: धान की तत्काल ख़रीद की मांग को लेकर दूसरे दिन भी किसानों का चक्का जाम जारी 

शुक्रवार को किसानों के एक समूह ने यह मांग करते हुए राष्ट्रीय राजमार्ग जाम कर दिया कि सरकार धान की खरीद तत्काल शुरू करे। हालांकि इस बीच भाकियू अध्यक्ष गुरनाम सिंह चढूनी ने हरियाणा बंद करने की कॉल को स्थगित कर दिया।
protest

हरियाणा के कुरुक्षेत्र जिले में शाहाबाद के समीप किसानों का आज शनिवार दूसरे दिन भी चक्का जाम जारी है। हालांकि इस बीच भाकियू अध्यक्ष गुरनाम सिंह चढूनी ने हरियाणा बंद करने की कॉल को स्थगित कर दिया।  उन्होंने किसानों को कहा है  कि फिलहाल जीटी रोड ही जाम रहेगा।

चढूनी ने शनिवार सुबह कहा कि कल से शाहबाद में जीटी रोड जाम किया हुआ है। हमारी मांग है कि मंडियों में धान की खरीद शुरू की जाए। रात को बहुत ज्यादा बारिश हुई है। किसान इतनी भयंकर बारिश व तूफान में भी जीटी रोड पर जमे हुए हैं। हम इसके लिए सभी किसान साथियों का धन्यवाद करते हैं।  उन्होंने कहा कि मौसम खराब को देखते हुए हमारा हरियाणा वासियों से फिलहाल अनुरोध है कि हरियाणा में सभी रोड बंद करने की जो कॉल कल दी थी, उस पर अभी कुछ न करें। अभी केवल शाहबाद में ही रोड जाम रहेगा।

हालांकि उन्होंने साफ कहा कि अगर प्रशासन की तरफ से किसानों पर कोई कार्रवाई हुई तो वो एक्शन लेंगे और हरियाणा बंद भी कर सकते हैं। हर हालात के लिए किसान और किसान नेताओं को तैयार रहने के लिए कहा गया है। 

आपको बता दें कि शुक्रवार को किसानों के एक समूह ने यह मांग करते हुए राष्ट्रीय राजमार्ग जाम कर दिया कि सरकार धान की खरीद तत्काल शुरू करे।

इससे पहले किसान ऊधम सिंह स्मारक पर एकत्र हुए। यहां से रोष मार्च निकालते हुए किसान हाईवे पर पहुंचे और चक्का जाम कर दिया। किसानों को रोकने के लिए पुलिस ने बैरिकेड भी लगाए थे। किसानों के आंदोलन को देख भारी संख्या में पुलिस बल भी तैनात किया गया है हालांकि पुलिस का डर भी किसानों को रोक नहीं सका। किसानों ने सड़क पर ही अपना डेरा लगा दिया है। कुरुक्षेत्र में भी दिल्ली बॉर्डर जैसा माहौल बना हुआ है। किसान आंधी तूफ़ान बारिश में सड़क पर ही डटे हुए है।

आंदोलनकारी किसानों का कहना है कि उनकी उपज मंडियों या बाजारों में लावारिस पड़ी है क्योंकि एजेंसियों ने अभी तक उनकी खरीद शुरू नहीं की है। राज्य के अधिकतर जिलों में अनाज मंडियों में नमी की मात्रा में वृद्धि के कारण सैकड़ों क्विंटल धान का स्टॉक ख़राब हो गया है। भले ही मंडियों में भारी मात्रा में धान की उपज आने लगी हो, लेकिन एजेंसियों ने अभी तक खरीद शुरू नहीं की है।  

हरियाणा में धान समेत खरीफ फसलों की खरीद एक अक्टूबर से शुरू होगी। किसान इसको तत्काल शुरू करने की मांग कर रहे है । 

कुछ प्रदर्शनकारी किसानों ने सड़क से बैरीकेड हटाने की भी कोशिश की। प्रदर्शनकारियों की अगुवाई हरियाणा बीकेयू (चडूनी) के प्रमुख गुरनाम सिंह चडूनी ने की।

प्रदर्शन स्थल पर किसानों को संबोधित करते हुए चडूनी ने कहा कि सरकार को तत्काल खरीद प्रक्रिया शुरू करनी चाहिए।

बृहस्पतिवार को यहां जारी किये गये एक सरकारी बयान के अनुसार धान, जौ, मक्का, मूंग, सूर्यमुखी, मूंगफली, तिल, अरहर और उड़द जैसी फसलें विपणन मौसम 2022-23 के दौरान खरीदी जाएंगीं और मंडियों में सुचारू खरीद के लिए समुचित प्रबंध किया गया है।

(समाचार एजेंसी भाषा के इनपुट के साथ )

अपने टेलीग्राम ऐप पर जनवादी नज़रिये से ताज़ा ख़बरें, समसामयिक मामलों की चर्चा और विश्लेषण, प्रतिरोध, आंदोलन और अन्य विश्लेषणात्मक वीडियो प्राप्त करें। न्यूज़क्लिक के टेलीग्राम चैनल की सदस्यता लें और हमारी वेबसाइट पर प्रकाशित हर न्यूज़ स्टोरी का रीयल-टाइम अपडेट प्राप्त करें।

टेलीग्राम पर न्यूज़क्लिक को सब्सक्राइब करें

Latest