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'अग्निपथ योजना' का विरोधः बिहार के उपमुख्यमंत्री के घर तोड़फोड़, छात्र-युवाओं का 18 को बंद का ऐलान

बिहार में अलग-अलग जगहों पर ट्रेन की बोगियों में आग लगाई गई। राज्य की उपमुख्यमंत्री रेणू देवी और प्रदेश बीजेपी के अध्यक्ष डॉ. संजय जायसवाल के घर को निशाना बनाया गया।
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सेना में भर्ती के लिए केंद्र सरकार की नई योजना 'अग्निपथ स्कीम' के विरोध में नाराज युवाओं का प्रदर्शन आज तीसरे दिन भी बिहार के कई हिस्सों में जारी रहा। शुक्रवार को प्रदर्शनकारी सुबह से ही राज्य के विभिन्न स्टेशनों पर जमा हो गए और ट्रेनों का संचालन रोक दिया। इस दौरान कई जगहों पर ट्रेनों में आगजनी की भी खबरें सामने आई हैं। वहीं प्रदेश की उपमुख्यमंत्री रेणू देवी के बेतिया स्थित उनके आवास और बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष डॉ. संजय जायसवाल के आवास को भी निशाना बनाया गया है। मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक प्रदर्शनकारियों ने बीजेपी के अध्यक्ष के घर को जलाने की कोशिश की।

मीडिया से बात करते हुए उपमुख्यमंत्री रेणू देवी ने कहा कि उनके बेतिया स्थित पैतृक आवास पर हमला हुआ है। उनके बेटे ने समाचार एजेंसी एएनआई से कहा कि, हमारे बेतिया स्थित घर पर हमला हुआ है। हमारा भारी नुकसान हुआ है। वे (रेणू देवी) पटना में हैं।

ज्ञात हो कि आज सुबह युवाओं ने राज्य में जगह-जगह ट्रेनों का परिचालन बाधित किया। कई जगह ट्रेनों में आग लगा दी गई। लखीसराय स्टेशन पर आनंद विहार से भागलपुर आ रही विक्रमशिला एक्सप्रेस को आग के हवाले कर दिया। यहां दो बोगियों में आग लगा दी गई जो कई बोगियों तक फैल गया। वहीं समस्तीपुर में लोहित एक्सप्रेस की कई बोगियों में आग लगा दी। उधर राज्य के औरंगाबाद में नेशनल हाईवे को जाम कर दिया जिससे यातायात पूरी तरह बाधित हो गया। वहीं शहर को जोड़ने वाली मुख्य सड़क पर भी टायर जलाया गया जिससे आवागमन बाधित रहा।

हिंदुस्तान अखबार के वेब पोर्टल की रिपोर्ट के मुताबिक आरा-बक्सर रेलखंड पर भोजपुर के बिहिया स्टेशन पर शुक्रवार की सुबह-सुबह बवाल शुरू हो गया। प्रदर्शन कर रहे युवाओं ने रेलवे, सिविल पुलिस और आरपीएफ पर जमकर पथराव किया और स्टोर रूम में आग लगा दी गई। पैनल के फोन का तार तोड़ दिया और ट्रैक के दर्जनों क्लैंप खोल दिए गए जिससे ट्रेनों का परिचालन बाधित हो गया। विभूति एक्‍सप्रेस आरा में रोकी गई। युवाओं ने बिहिया टिकट काउंटर में भी आग लगा दी। इसके अलावा सुपौल में भी सुबह करीब साढ़े आठ बजे एक पैसेंजर ट्रेन में आग लगा दी गई।

उधर दानापुर में भी सैकड़ों की संख्या में युवा सड़क पर उतर गए। पटना में उग्र युवाओं ने सरकारी बसों में तोड़फोड़ की। पटना शहर के डाकबंगला चौराहे पर भी प्रदर्शन कर जाम कर दिया गया। वहीं पीरबहोर के भिखना पहाड़ी में भी युवाओं ने प्रदर्शन किया। युवाओं के धरना प्रदर्शन के कारण दानापुर रेल मंडल के डुमराव स्टेशन के आस पास बड़ी संख्या में ट्रेनें प्रभावित हुईं हैं।

पटना के डीएम चंद्रशेखर सिंह ने न्यूूज एजेंसी एएनआई से कह कि, अभी स्थिति को पूरी तरह से नियंत्रित कर लिया गया है। करीब डेढ़ हजार की संख्या में भीड़ दानापुर रेलवे स्टेशन पर पहुंची थी। सभी को यहां से हटा दिया है। करीब 2 दर्जन लोगों को गिरफ़्तार किया है।

सोनपुर मंडल में भी ट्रेनों का परिचालन बाधित है। पूर्व मध्य रेलवे के मुख्यालय हाजीपुर जंक्शन पर भी बड़ी संख्या में युवा ट्रेनों के आवागमन को बाधित करने पहुंचे। हालांकि प्रशासन उन्हें वहां से भगा दिया।

छात्र-युवा संगठनों का 18 जून को बिहार बंद का ऐलान

उधर मोदी सरकार की सेना में भर्ती की अग्रिनपथ से नाराज छात्र-युवा संगठनों ने 18 जून को बिहार बंद का आह्वान किया है। आइसा-इनौस, रोजगार संघर्ष संयुक्त मोर्चा और सेना भर्ती जवान मोर्चा ने संयुक्त प्रेस विज्ञप्ति में राजनीतिक-सामाजिक संगठनों व बिहार की जनता से बिहार बंद को सफल बनाने की अपील की है और युवाओं को लेकर मोदी सरकार के रवैये को गैरजिम्मेदाराना बताया है।

विज्ञप्ति में छात्र-युवा संगठऩों ने लिखा कि सेना में भर्ती के लिए मोदी सरकार की अग्निपथ योजना ने बिहार सहित पूरे देश में युवाओं को झकझोर दिया है। देश के कई हिस्सों से उनकी आत्महत्या की खबरें मिल रही हैं। छात्र-युवाओं के इस आक्रोश को देखते हुए सरकार को इस योजना को तत्काल वापस लेना चाहिए था लेकिन वह अड़ियल रवैया अपना रही है। छात्र-युवाओं की भावनाओं को समझने की बजाए भाजपा के लोग आइसा-इनौस व अन्य आंदोलनकारियों को बदनाम करने पर उतर आए हैं। यह घोर निंदनीय है।

इन संगठनों का कहना है कि दो दिनों के आंदोलन के बाद सरकार महज बहाली की उम्र सीमा में एक साल बढ़ोतरी का आश्वासन दे रही है, वह भी केवल इसी साल के लिए। इसे स्वीकार करना कैसे संभव है? सरकार के इस अड़ियल व गैर जिम्मेदाराना रवैये के खिलाफ आइसा-इनौस, रोजगार संघर्ष संयुक्त मोर्चा और सेना भर्ती जवान मोर्चा ने 18 जून को बिहार बंद का आह्वान किया है।

ये घोषणा आज सेना भर्ती जवान मोर्चा के संयोजक राजू यादव, इनौस के राष्ट्रीय अध्यक्ष व अगिआंव विधायक मनोज मंजिल, आइसा के महासचिव व पालीगंज विधायक संदीप सौरभ समेत अन्य युवा नेताओं ने संयुक्त रूप से की।

उन्होंने राजनीतिक-सामाजिक संगठनों व बिहार की जनता से सेना व युवाओं के भविष्य को बचाने के लिए बिहार बंद को सक्रिय रूप से समर्थन देने की अपील की है।

छात्र-युवा नेताओं ने कहा कि यदि सरकार राष्ट्रीय सुरक्षा से खिलवाड़ और युवाओं का मजाक उड़ाने वाली इस योजना को वापस नहीं लेती, तो बिहार बंद के बाद भारत बंद की ओर कदम बढ़ाया जाएगा। यह कैसा मजाक है कि महज 4 साल काम करने के बाद जब युवाओं की असली जिंदगी शुरू होगी, तब उन्हें रिटायर्ड कर दिया जाएगा। हमारी मांग है कि कृषि कानूनों की तरह इस योजना को अविलंब रद्द किया जाए और बिना किसी देरी के सशस्त्र बलों में नियमित भर्ती की बहाली प्रक्रिया शुरू की जाए।

महागठबंधन का बंद को सफल बनाने का आह्वान

वहीं बिहार में महागठबंधन ने भी प्रेस विज्ञप्ति जारी करते हुए 18 जून के बिहार बंद को सफल बनाने का आह्वान किया है। इसमें कहा गया है कि मोदी सरकार देश की सुरक्षा व युवाओं से खेल रही है। साथ ही गठबंधन ने इस योजना को तत्काल वापस लेने की मांग की है।

विज्ञप्ति जारी करते हुए महागठबंधन ने लिखा कि मोदी सरकार अग्निपथ योजना की आड़ में युवाओं से धोखेबाजी कर रही है। प्रत्येक साल दो करोड़ नौकरियों का उसका वादा भी छलावा साबित हुआ है। अब यह सरकार 2024 के चुनावों से पहले दस लाख रिक्तियों बिना किसी आधार के भरने की बात कह रही है। आखिरकार छात्र युवाओं का धैर्य जवाब दे चुका है। और वे सरकार से हिसाब मांगने के लिए सड़कों पर उतर आए हैं। और पूरे देश में आंदोलन का विस्तार हो रहा है। महागठबंधन उनके इस आंदोलन का समर्थन करते हुए छात्र-युवा संगठनों द्वारा 18 जून के बिहार बंद को अपना समर्थन देने की घोषणा करता है।

संयुक्त रुप से जारी प्रेस विज्ञप्ति में कहा गया कि सेना में बहाली की अनुबंध प्रणाली और महज चार साल की नौकरी के प्रावधान वाली नई अग्निपथ योजना के खिलाफ छात्र-युवा आक्रोश का विस्फोट बहुत ही स्वभाविक है। अच्छे दिन वाली इस सरकार के विगत आठ सालों के शासन में अपनी जिंदगी की बेहतरी की उम्मीद लिए बैठे युवाओं ने हर बार अपने को ठगा व छला ही महसूस किया है।

इस प्रेस सम्मेलन को संयुक्त रुप से बिहार राजद के अध्यक्ष जगदानंद सिंह, सीपीआई-एमएल के प्रदेश सचिव कुणाल, सीपीआईएम के राज्य सचिव मंडल के सदस्य अरूण कुमार मिश्र व सीपीआई के इंद्रभूषण वर्मा ने संबोधित किया।

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