Skip to main content
xआप एक स्वतंत्र और सवाल पूछने वाले मीडिया के हक़दार हैं। हमें आप जैसे पाठक चाहिए। स्वतंत्र और बेबाक मीडिया का समर्थन करें।

विपक्ष ने रुपया कमज़ोर नहीं हुआ वाले बयान को लेकर सीतारमण पर निशाना साधा

कांग्रेस की प्रवक्ता सुप्रिया श्रीनेत ने सीतारमण की टिप्पणी पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि रुपये के मुकाबले डॉलर का भाव 83 के पार पहुंचने वाला है और ऐसा प्रतीत होता है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी “100 के पार पहुंचने के बाद ही इसे रोकेंगे।”  
Nirmala Sitharaman

नयी दिल्ली: विपक्ष ने रविवार को वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के इस बयान को लेकर उनपर पर निशाना साधा कि रुपया कमजोर नहीं हुआ है बल्कि अमेरिकी डॉलर मजबूत हुआ है। हालांकि, सत्तारूढ़ भाजपा ने सीतारमण के बयान का बचाव किया है।

कांग्रेस ने पूछा कि जनता कब तक सरकार की “अक्षमता और गलत नीतियों” की कीमत चुकाएगी।

कांग्रेस की प्रवक्ता सुप्रिया श्रीनेत ने सीतारमण की टिप्पणी पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि रुपये के मुकाबले डॉलर का भाव 83 के पार पहुंचने वाला है और ऐसा प्रतीत होता है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी “100 के पार पहुंचने के बाद ही इसे रोकेंगे।”

उन्होंने कहा, “रुपये को मजबूत करने के लिए पिछले 10-11 महीनों में 100 अरब डॉलर खर्च किए गए हैं, लेकिन इसमें गिरावट जारी है क्योंकि विदेशी निवेशकों को भारतीय अर्थव्यवस्था और मोदी सरकार की नीतियों पर भरोसा नहीं है।”

श्रीनेत ने बताया कि भारत का 86 प्रतिशत व्यापार अमेरिकी डॉलर में होता है इसलिए जब रुपया कमजोर होता है तो यह भारत की अर्थव्यवस्था, व्यापार और आयात को प्रभावित करता है।

उन्होंने कहा, “लेकिन वित्त मंत्री परेशान नहीं हैं, वह एक नया सिद्धांत लेकर आई हैं - रुपया कमजोर नहीं हो रहा है बल्कि डॉलर मजबूत हो रहा है।”

श्रीनेत ने कहा, “रुपये के कमजोर होने से महंगाई बढ़ती है और वित्त मंत्री को इस तरह के बयान देने से बचना चाहिए। लेकिन वह प्याज और लहसुन नहीं खाती हैं, रुपया कमजोर नहीं हो रहा है, बेरोजगारी नहीं है, कोई महंगाई नहीं है, यह सब तब कहा जा रहा है जब लोग इन मुद्दों से जूझ रहे हैं।”

कांग्रेस प्रवक्ता गौरव वल्लभ ने भी वित्त मंत्री पर निशाना साधा और कहा कि रुपये के कमजोर होने से कीमतों में और तेजी आएगी।

उन्होंने कहा, “ हमें कब तक आपकी (सरकार की) गलत नीतियों और निकम्मेपन की कीमत चुकानी पड़ेगी।”

राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) के प्रवक्ता क्लाइड क्रैस्टो ने कहा कि सीतारमण का “बेतुका” बयान “हमारे देश की अर्थव्यवस्था को संभालने में उनकी सरकार की विफलता को नहीं छिपा पाएगा।”

आम आदमी पार्टी के राज्यसभा सदस्य राघव चड्ढा ने भी वित्त मंत्री पर निशाना साधा।

उन्होंने सीतारमण का वीडियो साझा करते हुए ट्वीट किया, “मेरा अर्थशास्त्र कमजोर नहीं है, आपका मजबूत है।”

इस बीच, भाजपा प्रवक्ता संबित पात्रा ने मंत्री की टिप्पणी का बचाव किया।

उन्होंने ट्वीट किया, “जब अधिकांश मुद्राएं फेड रेट में बढ़ोतरी के कारण डॉलर के मुकाबले गिर रही हैं, तो इसे डॉलर का मजबूत होना कहा जाता है, जो अभी हो रहा है। यह भी ध्यान दिया जाना चाहिए कि अधिकांश मुद्राओं के मुकाबले रुपये की सराहना की गई है, इसलिए इसे रुपये का कमजोर होना नहीं कहना चाहिए।”

अमेरिका में अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) और विश्व बैंक की वार्षिक बैठकों में भाग लेने के बाद संवाददाताओं से बात करते हुए, सीतारमण ने कहा कि रुपया कमजोर नहीं हुआ है, बल्कि डॉलर मजबूत हुआ है।

अपने टेलीग्राम ऐप पर जनवादी नज़रिये से ताज़ा ख़बरें, समसामयिक मामलों की चर्चा और विश्लेषण, प्रतिरोध, आंदोलन और अन्य विश्लेषणात्मक वीडियो प्राप्त करें। न्यूज़क्लिक के टेलीग्राम चैनल की सदस्यता लें और हमारी वेबसाइट पर प्रकाशित हर न्यूज़ स्टोरी का रीयल-टाइम अपडेट प्राप्त करें।

टेलीग्राम पर न्यूज़क्लिक को सब्सक्राइब करें

Latest