Skip to main content
xआप एक स्वतंत्र और सवाल पूछने वाले मीडिया के हक़दार हैं। हमें आप जैसे पाठक चाहिए। स्वतंत्र और बेबाक मीडिया का समर्थन करें।

तिरछी नज़र : पुरुष हो, कहीं भी पेशाब कर सकते हैं

यह जो मूत्र विसर्जन की क्रिया है ना, अरे यही पेशाब करने का काम, पुरुष लोग कहीं भी कर सकते हैं। मतलब उन्हें कहीं भी मूतने की आज़ादी है। और इस आज़ादी को अपना जन्म सिद्ध अधिकार मान वे कहीं भी खडे़ हो मूतने लग जाते हैं।
satire
प्रतीकात्मक तस्वीर। फ़ोटो साभार : The Guardian

पेशाब करना एक अतिआवश्यक शारीरिक क्रिया है। इसके द्वारा शरीर के पानी में घुलनशील अपव्यय शरीर से बाहर निकलते हैं। यह शरीर को स्वच्छ रखने के लिए एक आवश्यक प्रक्रिया है। यह कार्य पृथ्वी पर बहुत सारे जीव-जंतु करते हैं। यहां तक कि स्त्रियां और आदिवासी भी पेशाब करते हैं।

पेशाब करना, मतलब मूतना। अगर ये शब्द अच्छा नहीं लग रहा है तो हम सूसू करना या फिर मूत्र विसर्जन भी कह सकते हैं। सूसू कहने से तो इसमें बाल सुलभता आ जाती है और मूत्र विसर्जन कहने से ऐसा लगता है कि जैसे कि हम कोई महान कार्य कर रहे हों। कोई पूजा अर्चना कर रहे हों। किसी महान यज्ञ में भाग ले रहे हों। 'अहम् मूत्र विसर्जनम् करोति'। वाह! क्या बात है। ऐसा लगता है, जैसे पेशाब नहीं कर रहे हैं, संस्कृत का कोई श्लोक पढ़ रहे हों। संस्कृत में बात ही कुछ ऐसी है कि गली भी दें तो ऐसा लगता है कि पूजा अर्चना कर रहे हैं। संस्कृत की तो बात ही निराली है। इसीलिए संस्कृत हमारे पूर्वजों को पसंद थी। इसीलिए वे संस्कृत सभी को नहीं पढ़ने देते थे। जिससे वे लोगों को बिना पता चले ही वे गालियां भी दे सकते थे।

यह जो मूत्र विसर्जन की क्रिया है ना, अरे यही पेशाब करने का काम, पुरुष लोग कहीं भी कर सकते हैं। मतलब उन्हें कहीं भी मूतने की आजादी है। और इस आजादी को अपना जन्म सिद्ध अधिकार मान वे कहीं भी खडे़ हो मूतने लग जाते हैं। देश की बहुत सारी इमारतों की चारदीवारी तो पुरुषों के मूत्र से ही सींची गई है, रोजाना सींची जाती है। पुरुषों के लिए मूतना एक सार्वजनिक कार्य है। इसे सिद्ध करने के लिए कई बार तो पुरुष सार्वजनिक शौचालय या मूत्रालय में पेशाब न कर उसके बराबर वाली दीवार पर ही मूत रहे होते हैं।

ऐसा नहीं है कि इस तरह से सार्वजनिक रूप से पेशाब करने के खिलाफ कोई कानून नहीं है। कानून है और हर राज्य में है। पूरे देश में है। लेकिन जैसे गांधी जी ने नमक बना कर अंग्रेजों का कानून तोड कर अंग्रेजी शासन का विरोध किया था, वैसे ही यह यहां, वहां, कहीं भी पेशाब कर भारत का पुरुष सरकारी कानून तोड़ सरकारी नितियों का विरोध कर रहा होता है। वह इस तरह से वर्तमान सरकार का विरोध तो कर ही रहा होता है साथ ही वह 'पेशाब क्रांति' से बढ़ती महंगाई और बेरोजगारी के खिलाफ क्रांति भी कर रहा होता है।

अभी हमने कहा कि पुरुष कहीं भी पेशाब कर सकता है। पुरुष महिला पर भी पेशाब कर सकता है। वह पुरुष कितना भी पढ़ा लिखा हो, कितना भी कमाने वाला हो, कितने भी ऊंचे पद पर हो, परंतु वह किसी महिला के ऊपर पेशाब कर सकता है। बस एक शर्त है। वह यह कि वह अपने को सिर्फ पुरुष समझे और महिला को सिर्फ महिला। जिसकी समझदानी इतनी विकसित हो गई हो, उसे महिला पर पेशाब करने के लिए शराब के नशे के बहाने की भी क्या जरुरत है। बस पुरुष होना ही काफी है। क्या कभी सुना, पढ़ा है कि किसी महिला ने पुरुष पर पेशाब कर दिया?

लेकिन आप पुरुष होने के साथ-साथ सवर्ण भी हैं (ऑफकोर्स भारतीय तो होंगे ही। यह सवर्ण होने की सुविधा सिर्फ भारत में ही मौजूद हैं), मतलब सवर्ण पुरुष हैं। अर्थात सोने पर सुहागा हैं। एक तो करेला हैं और उस पर भी नीम चढ़े हैं तो आप महिला पर तो सूसू कर ही सकते हैं, दलित, आदिवासी पर भी सूसू कर सकते हैं। हमारे समाज में यह आपका अधिकार है। यह सवर्ण पुरुषों का दलितों, आदिवासियों पर विशेषाधिकार है। यह उन्हें जन्म से ही मिला है।

हां तो पुरुषों, खास तौर पर सवर्ण पुरुषों, ब्राहमण पुत्रों, तुम अपने जन्म से मिले इस अधिकार को मत छोड़ना। चाहे बुलडोजर चला जाए, चाहे जेल हो जाए, तुम डटे रहना। उस आदिवासी को तो डर कर, घबरा कर, झक मारकर, अपनी, अपने परिवार की रक्षा के लिए तुम्हें माफ करना ही पड़ेगा। आज नहीं तो कल माफ करना ही पड़ेगा। और तुम जब जेल से निकलोगे तो तुम्हारा स्वागत होगा। फूल मालाएं पहनाई जाएंगी। लड्डू बांटे जाएंगे। तुम पंचायत से लेकर लोकसभा तक सभी चुनाव लड़ोगे और जीतोगे। तुम्हारी यात्रा तो अभी शुरु हुई है। देश धार्मिक राष्ट्र जो बनने जा रहा है, हिंदू राष्ट्र जो बनने जा रहा है।

(लेखक पेशे से चिकित्सक हैं।)

अपने टेलीग्राम ऐप पर जनवादी नज़रिये से ताज़ा ख़बरें, समसामयिक मामलों की चर्चा और विश्लेषण, प्रतिरोध, आंदोलन और अन्य विश्लेषणात्मक वीडियो प्राप्त करें। न्यूज़क्लिक के टेलीग्राम चैनल की सदस्यता लें और हमारी वेबसाइट पर प्रकाशित हर न्यूज़ स्टोरी का रीयल-टाइम अपडेट प्राप्त करें।

टेलीग्राम पर न्यूज़क्लिक को सब्सक्राइब करें

Latest